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अभी-अभी: GST काउंसिल मीटिंग का में बड़ा फैसला - पेट्रोल-डीजल GST में शामिल

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तेल मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने बुधवार को कहा कि पेट्रोलियम मंत्रालय ने राज्यों से आग्रह किया है कि पेट्रोल और डीजल पर वैट (वैल्यू एडेड टैक्स) को 5 फीसदी तक घटा दिया जाए,

प्रधान मंत्री ने कहा, "राज्यों का सबसे बड़ा लाभार्थी है। वे सभी वैट कलेक्शन के साथ-साथ केंद्रीय एक्साइज कलेक्शन का 42 फीसदी भी प्राप्त करते हैं। केंद्र सरकार के साथ शेष राशि राज्यों में केन्द्र प्रायोजित योजनाओं को वित्तपोषित करती है।"

केंद्र सरकार ने नवंबर 2014 और जनवरी 2016 के बीच पेट्रोल पर पेट्रोल की कीमत 11.77 रुपये प्रति लीटर और डीजल पर 13.47 रुपये प्रति लीटर बढ़ा दिया था ताकि अंतरराष्ट्रीय तेल दरों में गिरावट के कारण लाभ उठाना पड़े।

दिल्ली और हिमाचल प्रदेश ने पेट्रोल पर 27 फीसदी वैट वसूल किया है जबकि पंजाब में 36.04 फीसदी वैट है। हरियाणा में 26.25 प्रतिशत वैट लगाया गया है।
अगर केंद्र सरकार पेट्रोल-डीजल की कीमतों में बदलाव के लिए एक कदम उठाएंतो इनकी कीमतें मौजूदा कीमतों से सीधे आधी हो सकती हैं। अगर सरकार ऑयल मिनिस्टर धर्मेंद्र प्रधान की बात मान लेती हैतो 1 लीटर पेट्रोल सिर्फ 43 रुपए में मिलेगा और एक लीटर डीजल महज 41 रुपए में।

दरअसल पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों को लेकर ऑयल मिनिस्टर धर्मेंद्र प्रधान ने कहा है कि कीमतों पर काबू पाने के लिए जीएसटी से ही रास्ता निकल सकता है और आज gst काउंसिल की बैठक चल रही है। उन्होंने बताया कि जीएसटी परिषद से पेट्रोल-डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने को लेकर विचार करने को कहा है।

अगर सरकार इस काम को कर देतो आम आदमी को काफी फायदा हो सकता है। हम आपको बता रहे हैं कि अगर पेट्रोल-डीजल नई टैक्स नीति के तहत आते हैंतो कीमतों में कितना बदलाव आएगा। अगर पेट्रोल-डीजल को जीएसटी के दायरे में लाया जाता हैतो इस पर ज्यादा से ज्यादा 28 फीसदी टैक्स लगाया जा सकता है। क्योंकि जीएसटी में यही सबसे ज्यादा टैक्स स्लैब है। 28फीसदी टैक्स वसूले जाने पर एक लीटर पेट्रोल आपको दिल्ली में करीब 43 रुपए में पड़ेगा। जोकि पेट्रोल की मौजूदा कीमतों से आधा है
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